पूर्व राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन की जयंती एवं शिक्षक दिवस के अवसर पर लखनऊ में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने शिक्षकों का कैशलेस इलाज कराने का ऐलान किया है। लोक भवन में आयोजित सम्मान समारोह में उन्होंने घोषणा की कि अब सभी शिक्षकों को कैशलेस चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। इस योजना का लाभ शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को भी मिलेगा। शिक्षामित्रों और अनुदेशकों का मानदेय भी बढ़ाया जाएगा। इसके लिए मुख्यमंत्री ने बताया कि एक उच्च स्तरीय समिति गठित की गई है। समिति की रिपोर्ट जल्द आने वाली है, जिसके बाद उनका मानदेय बढ़ा दिया जाएगा।
शिक्षक दिवस पर एक कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पहले बीमारू राज्य के रूप में जाना जाने वाला उत्तर प्रदेश आज भारत के विकास का इंजन बन रहा है... जो राज्य अपनी पहचान बनाने के लिए संघर्ष कर रहा था, आज उसकी एक मज़बूत पहचान है और लोग इस पर गर्व महसूस करते हैं। आठ साल पहले सत्ता में वो कौन लोग थे जो राज्य के लिए कुछ नहीं कर सके? इससे पहले, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी राधाकृष्णन के योगदान को याद करते हुए अपनी शुभकामनाएँ व्यक्त कीं। उन्होंने कहा कि मन को पोषित करने के प्रति शिक्षकों का समर्पण एक मज़बूत और उज्जवल भविष्य की नींव है।
आपको बता दें कि प्रदेश सरकार के इस फैसले से 9 लाख परिवारों को फायदा मिलेगा। कैशलेस स्कीम की सुविधा मिलने का मतलब ये है कि शिक्षक या उनके परिवार में किसी बीमारी के होने की स्थिति में अस्पताल में शुरुआती इलाज के लिए कैश की व्यवस्था की चिंता से मुक्त होना संभव हो पाएगा। इलाज के बाद बीमा के दायरे में अगर खर्च आया, तो जेब पर भार भी नहीं पड़ेगा।