दिल्ली की एक अदालत ने मंगलवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी (आप) के खिलाफ दायर आरोप पत्र पर संज्ञान लिया, जिसमें उन्हें आबकारी नीति मामले में आरोपी बनाया गया था। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट की विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा ने 12 जुलाई के लिए अरविंद केजरीवाल का प्रोडक्शन वारंट जारी किया है। इससे पहले, 3 जुलाई को कथित दिल्ली शराब नीति घोटाले के संबंध में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा दायर मामले में अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली उच्च न्यायालय में नई जमानत याचिका दायर की थी।
सीबीआई ने आप सुप्रीमो को 26 जून को भ्रष्टाचार के एक मामले में गिरफ्तार किया था, जबकि वह प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले में न्यायिक हिरासत में थे। सीबीआई द्वारा गिरफ्तारी और रिमांड को चुनौती देने वाली याचिका अभी भी हाई कोर्ट में लंबित है। ईडी मामले में जमानत के लिए एक और मामला ट्रायल कोर्ट में लंबित है। इससे पहले, दिल्ली के सीएम को उनके खिलाफ ईडी मामले में ट्रायल कोर्ट की अवकाशकालीन पीठ ने जमानत दे दी थी। लेकिन, दिल्ली हाई कोर्ट ने ट्रायल कोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी और रोस्टर बेंच द्वारा मामले की दोबारा सुनवाई का आदेश दिया।
पिछले हफ्ते, दिल्ली उच्च न्यायालय ने दिल्ली शराब नीति मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी और उसके बाद रिमांड पर सीबीआई को नोटिस जारी किया था। कोर्ट ने सीबीआई को जवाब दाखिल करने के लिए सात दिन का समय दिया है। इस मामले में सुनवाई की अगली तारीख 17 जुलाई है। केजरीवाल की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने मंगलवार को उच्च न्यायालय को बताया कि हालांकि वे जमानत याचिका दायर करने के हकदार हैं, लेकिन उन्होंने अभी तक ऐसा नहीं किया है। बुधवार को केजरीवाल ने हाई कोर्ट में सीबीआई मामले में जमानत याचिका दायर की।