गोपालगंज. क्या आपने बॉलीवुड अभिनेता अक्षय कुमार, सुनील शेट्टी और परेश रावल की फिल्म फिर हेराफेरी देखी है? अगर नहीं देखी तो 2 मिनट में इस खबर को पढ़ लीजिये आपको उस फिल्म की कहानी भी समझ आ जाएगी. दरअसल बिहार के गोपलगंज जिले से बॉलीवुड फिल्म फिर हेराफेरी जैसा मामला सामने आया है, जहां कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी लोगों से पैसा जमा कराने के बाद करोड़ों रुपये लेकर फरार हो गयी. वहीं, पुलिस ने अब इस कंपनी के अधिकारियों और कर्मियों पर एफआइआर दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है.
एसपी स्वर्ण प्रभात ने पीड़ित ग्राहकों की शिकायत पर अलग-अलग चार थानों में प्राथमिकी दर्ज करने का निर्देश दिये हैं. वहीं, इसकी जांच और गिरफ्तारी के लिए एसडीपीओ के नेतृत्व में एसआइटी गठित की गयी है. दरअसल नन बैकिंग कंपनी के फ्रॉड के शिकार हुए लोगों ने मंगलवार को पुलिस अधीक्षक के जनता दरबार में गुहार लगायी. पीड़ित मो. फिरोज अली, मकबुल मियां, मुन्ना सहनी, रामचंद्र सहनी, हरिलाल सहनी, शंभू सहनी, पारसनाथ साह आदि ने जनता दरबार में पहुंचकर नन बैकिंग कंपनी कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी द्वारा पैसा जमा कराने और कंपनी के भाग जाने की शिकायत की.
पैसे डबल करने का दिया लालच
कंपनी के फ्राॅड के शिकार हुए लोगों ने किहा कि 2012 में यह कंपनी खुली थी, उस समय कंपनी के क्षेत्रीय प्रबंधक प्रदीप पांडेय, फुलवरिया थाने के बंशी बतरहा के कैशियर शौकत अली, बरौली शाखा के ब्रांच मैनेजर संजु राम, प्रदीप कुमार पटेल द्वारा 2012 से 2021 तक के लिए पैसा जमा कराया गया. किसी ने लोन लेने के लिए फिक्स डिपॉजिट किया, तो किसी ने बेटी व बहन की शादी के लिए पैसा डबल होने के लिए फिक्स कर बांड पेपर लिया. कंपनी की ओर से पैसा वापस करने का समय आया तो उसके सभी कार्यालय 2021 में बंद हो गये और कंपनी फरार हो गयी. इधर, 2023 से 2024 के बीच पैसा देने का आश्वासन कंपनी में काम करनेवाले क्षेत्रिय प्रबंधक और ब्रांच मैनेजर द्वारा दिया गया, लेकिन किसी भी खाताधारक को पैसा नहीं मिला. ऐसे में पीड़ित खाताधारक परेशान हैं औार अपनी गाढ़ी कमाई का पैसा कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी में जमा कर कंगाल हो चुके हैं.
बहन-बेटी की शादी के लिए जमा किया था पैसा
बरौली थाने के भड़कुइया हाता मठिया टोला के रहनेवाले हरिलाल प्रसाद ने कोटवा के पास खुले कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड में एक लाख रुपये फिक्स किया था. पीड़ित का कहना है कि क्षेत्रिय प्रबंधक प्रदीप पांडेय, ब्रांच मैनेजर संजु राम, शौकत अली व प्रदीप कुमार पटेल द्वारा सरकारी कंपनी होने का झांसा देकर अन्य लोगों का करोड़ों रुपये भी जमा कराया गया. अब यह कंपनी फरार हो गयी है. लोगों के अरमान को चूना लगा गयी. बहन की शादी तो किसी ने बेटी की शादी के लिए पैसा फिक्स किया था.
टर्म पूरा हुआ, फिर भी नहीं मिला पैसा
मांझा थाने के सहलादपुर गांव के रहनेवाले ललन यादव ने नगर थाने के श्याम सिनेमा रोड स्थित ठाकुर मेंशन में खुले कैमुना को-ऑपरेटिव में एक लाख 54 हजार रुपये जमा किया था. 2012 से चल रही यह कंपनी 2021 में फरार हो गयी. मीरगंज के भटवलिया के रहनेवाले कंपनी के क्षेत्रीय प्रबंधक प्रदीप पांडेय, फुलवरिया थाने के बंशी बतरहा के कैशियर शौकत अली द्वारा 2012 से 2021 तक के लिए पैसा जमा कराया गया. आरडी का समय पूरा होने पर पैसा देने का समय आया तो कंपनी फरार हो गयी.
बेटी की शादी के लिए जमा किया था पैसा
मांझा थाने के कोइनी गांव निवासी मकबुल मियां ने खुद और लोगों को प्रेरित कर गोपालगंज स्थित कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड के प्रधान शाखा में करोड़ों रुपये जमा कराया. 2023 से जनवरी 2024 तक पैसा वापस करने की बात कही गयी थी, लेकिन पैसा नहीं मिल सका और कंपनी के सभी कार्यालय भी बंद हो गये. किसी ने बेटी तो किसी ने बच्चों की पढ़ाई के लिए गाढ़ी कमाई को जमा किया था, लेकिन टर्म पूरा होने के बाद किसी को पैसा नहीं मिल रहा है.
कार्रवाई के लिए गठित की गयी एसआइटी
एसपीएसपी स्वर्ण प्रभात ने कहा कि कैमुना क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी के विरुद्ध जनता दरबार में शिकायतें आयी. फ्रॉड के शिकार हुए खाताधारकों के आवेदन पर एफआइआर करने के लिए थानों को निर्देश दिया गया है. जांच और कार्रवाई के लिए एसडीपीओ के नेतृत्व में एसआइटी बनी है, कार्रवाई की जा रही है.