एसी फटने, आग लगने की खबरें बहुत तेज होती जा रही हैं, और लगातार इससे जुड़े नए-नए मामले सामने आ रहे हैं. गर्मी के कारण एसी और कंप्रेसर हीट बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं और इससे तेजी से आग लग रही है. तपता हुआ गर्म मौसम तो एसी के लिए खतरा बन ही रहा है, साथ ही हमारी कुछ गलतियों की वजह से भी एसी में आग लगने का खतरा बढ़ रहा है. इसलिए आइए जान लेते हैं कि एसी को आग लगने या फटने से कैसे रोका जा सकता है.
एसी को लेकर ये कहा जाता है कि इसे 600 घंटे चलाने के बाद इसकी सर्विसिंग होना जरूरी है. आप एक दिन में कितने घंटे एसी चलाते हैं, उस हिसाब से कैलकुलेट करके ये देख लें कि आपके एसी को सर्विस की जरूरत कितने दिन के बाद हो सकती है.
एसी तो हम महंगा खरीद लेते हैं मगर इसकी फिटिंग कराते समय कुछ जरूरी चीज़ों पर बिलकुल भी ध्यान नहीं देते हैं. एसी इंस्टॉल करते समय अच्छी क्वालिटी की MCB, प्लग-सॉकिट और केबल ही लगवाएं.
Gas भरवाते हुए कभी नहीं देते इसपर ध्यान:
एसी खरीदते समय कंप्रेसर के हिसाब से जो गैस आती है, वही गैस डलवानी चाहिए. उदाहरण के तौर पर अलग-अलग कंप्रेसर को देखते हुए AC में R32, R22 या R410A गैस डाली जाती है. हर गैस की कपैसिटी अलग-अलग होती है. लेकिन हम क्या गलती हैं कि किसी मकैनिक ने सस्ते में डालने के लिए कहा तो हम वही गैस डलवा लेते हैं, जो कि घातक साबित हो सकती है.
इस 46 से 48 डिग्री वाले मौसम में अगर आप एसी को लगातार 2-3 घंटे चला रहे हैं तो आपको इसे बीच-बीच में 10-12 मिनट के लिए बंद करना चाहिए. इससे कंप्रेसर ठंडा भी होता रहेगा, क्योंकि लगातार चलने से ओवरहीट होकर इसमें आग लगती है.
पानी के आउटर यूनिट पर पानी का छिड़काव करके भी ओवरहीटिंग से बचाया जा सकता है. हालांकि ध्यान इस बात का रखना चाहिए कि उस समय सारे पावर ऑफ रहे ताकि करंट लगने का खतरा न रहे.
ऐसा किया तो धूप का असर होगा कम:
अगर आपके पास स्प्लिट एसी है तो कोशिश करें कि उसके आउटडोर यूनिट को शेड में रखें क्योंकि डायरेक्ट धूप लगने से ये तेजी से ओवरहीट होता है. अगर ये शेड के नीचे होगा तो इसपर 6-7 डिग्री टेम्प्रेचर का कम असर होगा.