वाराणसी में टीबी मुक्त अभियान को लेकर जिला प्रशासन ब्लॉक स्तर पर क्षय रोगियों के सम्पूर्ण जांच, उपचार, पोषण सहयोग के लिए योजना तैयार की है। इसके तहत पहले चरण में प्रत्येक ब्लॉक के 10 ग्राम पंचायतों को चिन्हित कर वहां स्क्रीनिंग अभियान चलाया जाएगा।
मुख्य विकास अधिकारी हिमांशु नागपाल ने टीबी कार्यक्रम की समीक्षा बैठक कर निर्देशित किया कि जिले के सभी क्षय रोगियों का यूनिवर्सल ड्रग ससेप्टिबिलिटी टेस्ट किया जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि क्षय रोगियों को स्वयं सहायता समूह से क्रय कर पोटली बांटी जाए। पोटली के लिए भुगतान का लिंक शेयर किया जाए एवं उसी से भुगतान किया जाए।
उन्होंने बताया कि हर ब्लॉक के 10-10 ग्राम पंचायतों को चिन्हित कर घर-घर स्क्रीनिंग, सैंपल कलेक्शन व मॉनिटरिंग के द्वारा कराई जाएंगी। नगरीय क्षेत्र में भी इसी तरह की गतिविधियां संचालित की जाएंगी। लोगों को जागरूक किया जाएगा, जिससे हम वाराणसी को टीबी मुक्त जिला बना सकते हैं।
जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ पीयूष राय ने डाटा साझा करते हुए बताया कि इस साल जिले में अब तक 11,203 क्षय रोगियों को नोटिफ़ाइ किया जा चुका है। इसमें 7,268 रोगी सरकारी क्षेत्र व 3,935 निजी क्षेत्र के शामिल हैं। वर्तमान में 13,074 क्षय रोगियों का उपचार चल रहा है। इसमें 6,825 डीएसटीबी, 670 डीआरटीबी और 5,579 रोगियों की टीबी प्रिवेंटिव थेरेपी चल रही है। इसके अतिरिक्त वर्ष 2021 में ट्रीटमेंट सक्सेस रेट 89% देखा गया जबकि वर्ष 2022 में यह बढ़कर 91% हो गया है।