श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में सावन में एक करोड़ शिवभक्तों के पहुंचने का आंकड़ा आज पार हो सकता है, शिव-पार्वती-गणेश का श्रृंगार

श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में सावन में एक करोड़ शिवभक्तों के पहुंचने का आंकड़ा आज पार हो सकता है, शिव-पार्वती-गणेश का श्रृंगार

आज सावन का छठा सोमवार है। काशी विश्वनाथ धाम में भक्तों की अपार भीड़ है। हर-हर महादेव के उद्घोष के साथ महादेव भक्त गंगाजल और दूध लेकर गर्भगृह तक पहुंच रहे हैं। पाइप से दूध-जल अर्पित करने के दौरान छण भर ज्योर्तिलिंग के दर्शन पाकर भक्त निहाल हो उठे हैं। भक्तों को करीब डेढ़ घंटे तक लाइन में लगना पड़ रहा है। फिर वह जलाभिषेक कर पा रहे हैं।

एक करोड़ शिवभक्तों का आंकड़ा आज पूरा हो सकता है

आज भोर में मंगला आरती के बाद से बाबा का दरबार शिवभक्तों से पट गया है। पूरा कॉरिडोर श्रद्धालुओं से भरा है। आज भी 6 लाख से ज्यादा शिवभक्त बाबा के दर्शन कर सकते हैं। मंदिर प्रशासन का अनुमान है कि आज श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में इस सावन आए शिवभक्तों की संख्या 1 करोड़ को पार कर सकती है।

पिछले सोमवार तक बाबा धाम में कुल 88 लाख से ज्यादा श्रद्धालु पहुंचे थे। वहीं, रविवार तक कुल आंकड़ा 96 लाख शिवभक्तों का पार कर गया था। आज 1 करोड़ से पार जाने के आसार हैं। आज रात शयन आरती के बाद काशी विश्वनाथ धाम में बाबा के शंकर पार्वती गणेश स्वरूप का विशेष श्रृंगार होगा।

आज पूरे परिवार संग दर्शन देंगे बाबा

आज बाबा विश्वनाथ अपने उपासकों को पूरे परिवार के साथ दर्शन देंगे। मंदिर के पुजारियों द्वारा बाबा के ज्योतिर्लिंग का खास श्रृंगार किया जाएगा। रात की शयन आरती के बाबा के इस स्वरूप का दर्शन होगा। बाबा विश्वनाथ, माता पार्वती और बाल गणेश की चल प्रतिमा भी विराजमान की जाएगी। श्री काशी विश्वनाथ धाम में सावन के हर सोमवार को महादेव के अलग अलग स्वरूप का शृंगार किया जा रहा है। अधिकमास होने से इस वर्ष सावन दो महीने का हो रहा है। जिसमें आठ सोमवार और 2 पूर्णिमा पड़ रहे हैं। बाबा हर सोमवार को अलग-अलग स्वरूपों में भक्तों के सामने प्रकट हो रहे हैं। अभी तक 6 श्रृंगार हो चुके हैं। आज सातवां होना है।

इन रूपों में सज चुके हैं बाबा विश्वनाथ

इसके पहले श्री काशी विश्वनाथ धाम में पिछले पांच सोमवार को बाबा विश्वनाथ की चल प्रतिमा, गौरी शंकर स्वरूप, अमृत वर्षा स्वरूप, भागीरथी स्वरूप, तपस्यारत पार्वती स्वरूप का श्रृंगार हुआ। वहीं, बीते मंगलवार को पूर्णिमा पर पूर्णिमामासी श्रृंगार किया गया था। सावन महीने के अधिकमास के सातवें सोमवार को देवाधिदेव के अर्धनारीश्वर स्वरूप का श्रृंगार होगा, वहीं अंतिम यानी 8वें सोमवार को महादेव का रुद्राक्ष श्रृंगार होगा। भक्त अर्धनारीश्वर स्वरूप और रुद्राक्ष श्रृंगार के स्वरूप का दर्शन का सकेंगे।

मंगलवार सुबह 8 बजे तक रूट डायवर्जन लागू

सावन के सोमवार पर भक्तों की भारी भीड़ की वजह से हर बार रूट डायवर्जन लागू कर दिया जाता है। आज पूरे दिन और पूरी रात रूट डायवर्जन लागू रहेगा। मंगलवार को सुबह 8 बजे डायवर्जन हटेगा। सावन के बाकी 3 सोमवार को भी यह ट्रैफिक व्यवस्था लागू रहेगी। मैदागिन और गोदौलिया चौराहे से लेकर मंदिर तक नो व्हीकल जोन घोषित कर दिया गया है।

मैदागिन-गोदौलिया से सोनारपुरा की सड़क, गुरुबाग-रामापुरा से बेनियाबाग तिराहा की सड़क, रविंद्रपुरी ब्रॉडवे होटल तिराहे से रामापुरा चौराहा की सड़क को भी नो व्हीकल जोन घोषित किया गया है। यहां पर कार, बाइक, स्कूटी, पब्लिक रिक्शा या ई-रिक्शा का संचालन नहीं होगा। मगर, दिव्यांगों, बुजुर्गों और महिलाओं को मंदिर तक पहुंचाने के लिए ई-रिक्शा चलेंगे।

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