Rajasthan: कम नहीं हो रहे तेवर, सचिन पायलट ने कहा- भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ता रहूंगा

Rajasthan: कम नहीं हो रहे तेवर, सचिन पायलट ने कहा- भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ता रहूंगा

राजस्थान में कांग्रेस के लिए फिलहाल सब कुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है। एक ओर जहां मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का खेमा है तो दूसरी ओर सचिन पायलट हैं। पिछले दिनों सचिन पायलट ने वसुंधरा राजे की सरकार में हुए भ्रष्टाचार को लेकर एक धरना दिया था। इसे माना गया था कि यह घकना वर्तमान की अशोक गहलोत सरकार के खिलाफ है क्योंकि सचिन पायलट ने साफ तौर पर कहा था कि हमने चुनाव में जो भ्रष्टाचार को खत्म करने का वादा किया था उस पर हम काम नहीं कर पाए हैं। सचिन पायलट भ्रष्टाचार को लेकर लगातार अपनी सरकार पर सवाल उठाते रहे हैं। एक बार फिर से उन्होंने भ्रष्टाचार के खिलाफ मोर्चा खोला है। उन्होंने साफ तौर पर कहा है कि वह भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ते रहेंगे। 

पायलट ने यह भी कह दिया कि अगर उनका भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज बुलंद करना किसी को पसंद नहीं आया हो तो उन्हें इस बात की कोई परवाह नहीं है। सचिन पायलट का धरना 11 अप्रैल को हुआ था। सचिन पायलट के धरने को कांग्रेस की ओर से पार्टी विरोधी कदम करार दिया गया था। लेकिन सचिन पायलट के तेवर अभी भी बरकरार है और वह भ्रष्टाचार के खिलाफ लगातार बात कर रहे हैं। पायलट ने युवाओं से कहा कि जो कुरीतियां हमारे अंदर हैं... आज देश और प्रदेश में कहीं भी अगर लूटपाट होती है, भ्रष्‍टाचार होता है, तो उसके खिलाफ हमें आवाज बुलंद करनी पड़ेगी। मैंने भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज बुलंद की... हो सकता है कुछ लोगों को बात पसंद नहीं आई हो, लेकि‍न मुझे कोई परवाह नहीं। मैं भ्रष्टाचार के खिलाफ अपनी लड़ाई लड़ता रहूंगा। 

पायलट ने कहा कि दीमक की तरह यह भ्रष्टाचार हम लोगों को खा रहा है। कांग्रेस नेता ने राजनीति में अच्‍छे आचरण, अच्‍छी सोच वाले लोगों के आगे आने की वकालत करते हुए कहा कि ऐसे लोगों का चयन आपको करना है। इसके साथ ही पायलट ने पेपर लीक प्रकरण को लेकर परोक्ष रूप से राज्‍य सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, आज हमारे बच्चे जो वर्षों मेहनत करते हैं, जिनके मां-बाप अपना पेट काटकर उनकी ट्यूशन कराते हैं, पढ़ाते हैं, वो परीक्षा देते हैं, और फिर पेपर लीक हो जाता है, वह प्रश्नपत्र रद्द हो जाता है, इससे हमें दुख नहीं होता? उस पर कार्रवाई करने में इतना समय क्‍यों लगता है? न्याय दिलाने में इतना कष्ट क्यों होता है?


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yhfee@chitthi.in, 10 June 2023

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