नई दिल्ली: भारत में टीम इंडिया का क्रिकेटर होना किसी बड़े सेलिब्रिटी की तरह ही हैं. फैन्स की भीड़ उन्हें घेर लेती है. वह अपने परिवार या दोस्तों के साथ एक आम इंसान की तरह घूम फिर नहीं सकते हैं. सचिन तेंदुलकर ने एक इंटरव्यू में खुलासा किया था कि पत्नी के साथ फिल्म देखने के लिए उन्हें भेष बदलना पड़ा था, लेकिन वहां भी वह पकड़े गए थे. ऐसा ही कुछ भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली के साथ भी हो चुका है. गांगुली ने भी एक इंटरव्यू में बताया था कि बेटी सना के साथ दुर्गा पूजा देखने जाने के लिए उन्होंने अपना भेष बदला था.
सौरव गांगुली ने अपनी किताब ‘ए सेंचुरी इज नॉट इनफ’ में इस बात का खुलासा किया है. गांगुली ने इस किताब में खुलासा किया कि एक खिलाड़ी के रूप में उन्होंने क्या-क्या झेला है. पूर्व भारतीय कप्तान ने खुलासा किया कि कैसे कोलकाता में दुर्गा पूजा उत्सव के दौरान भीड़ से बचने के लिए उन्होंने एक बार पूरा भेष बदला था. गांगुली दुर्गा पूजा में शामिल होने के लिए सिख की तरह गेटअप बनाकर गए थे.
सौरव गांगुली ने लिखा, ”दुर्गा पूजा थी. सभी बंगालियों की तरह यह मेरा पसंदीदा त्योहार है. मैंने हरभजन की एक पगड़ी के साथ जाने का फैसला किया. हां.. मैंने एक सरदारजी का भेष बनाया. भीड़ मुझे घेर सकती थी. स्थिति नियंत्रण से बाहर हो सकती थी. लेकिन देवी को ले जाने वाले ट्रक पर परिवार के सदस्यों के साथ जाने का रोमांच बहुत अनूठा था.”
सौरव गांगुली ने आगे लिखा, ”मेरी पत्नी डोना ने मुझे एक पूरे बंगाली से एक कायल दिखने वाला सिख बनाने के लिए एक मेकअप आर्टिस्ट के घर आने की व्यवस्था की थी. मेरे कजिन ने मेरा मजाक उड़ाया, यह कहते हुए कि मुझे पहचान लिया जाएगा. लेकिन मैंने यह चैलेंज स्वीकार किया. मुझे पुलिस ने ट्रक पर चढ़ने की अनुमति नहीं थी और मुझे अपनी बेटी के साथ अपनी कार में उनके पीछे चलना पड़ा.”
गांगुली ने आगे लिखा, ”जैसे ही कार बाबूघाट इलाके में पहुंची, पुलिस इंस्पेक्टर ने खिड़की से अंदर झांका. उन्होंने मुझे करीब से देखा. उन्होंने मुझे पहचान लिया था. वह धीरे से मुस्कुराए. मैं शर्मिंदा था, लेकिन मैंने उन्हें अपना राज रखने के लिए कहा. वहां से निकल कर हम आगे गए. नदी के चारों ओर विसर्जन का दृश्य बेहद खूबसूरत था. इसे समझने के लिए आपको इसे देखना होगा.ए आखिर दुर्गा मां साल में एक बार ही आती हैं.”