बसपा सरकार में मंत्री रहे हाजी याकूब कुरैशी और उसके दोनों बेटे सलाखों के पीछे हैं। सरकारी वकील की माने तो याकूब पर लगे चार्ज इतने गंभीर हैं कि उनका बचना नामुमकिन है। वह सजा से बच नहीं पाएंगे। यहां तक की जमानत भी नहीं मिलेगी। सरकारी वकील ने याकूब के साथ ही उनके बेटों को भी कड़ी से कड़ी सजा दिलाने की तैयारी की है। उनका कहना है कि संभवत: उम्र कैद की सजा होगी। दैनिक भास्कर ने इस मुकदमे को देख रहे लोक अभियोजक सीनियर ऑफिसर से बातचीत की।
सवाल- याकूब और बेटा जेल जा चुके हैं। अब अगली प्रक्रिया क्या होगी?
जवाब- याकूब कुरैशी और उनके बेटे इमरान को जेल भेज दिया गया है। चूंकि 2/3 गैंगस्टर एक्ट मामले में याकूब के अलावा 6 अन्य अभियुक्त हैं। इन सभी को न्यायालय में पेश कराकर इनके विरुद्ध चार्ज फ्रेमिंग कराया जाएगा। इसके बाद ट्रायल शुरू कराकर सारे गवाहों को पेश करके इनके खिलाफ कार्यवाही कर सजा दिलाई जाएगी।
सवाल- क्या याकूब या उसके बेटे को बेल मिल सकती है?
जवाब- गैंगस्टर एक्ट के तहत इनकी जमानत का हम पुरजोर विरोध करेंगे। मंत्री और उसका बेटा दोनों का लंबा आपराधिक इतिहास है। याकूब पर 16 मामले और इमरान पर 9 मामले दर्ज हैं। दोनों के लंबे आपराधिक इतिहास को देखते हुए न्यायालय से पैरवी की जाएगी कि इनकी जमानत खारिज हो। बेल न मिले।
सवाल- याकूब और उसके बेटे को क्या सजा हो सकती है?
जवाब- गैंगस्टर एक्ट का जो मामला कोर्ट में चलाया जाता है वो आर्थिक, भौतिक लाभ प्राप्त करने, भय दिखाने के आधार पर चलता है। ये लंबी प्रक्रिया है। डीएम के स्तर से गैंग चार्ट अप्रूवल होता है। कोर्ट में विवेचना के बाद आरोप पत्र दाखिल होता है।
याकूब के खिलाफ जो चार्ज हैं वो संगीन हैं, ये मजबूत मामला है। याकूब द्वारा जो मीट की फैक्ट्री अवैध तरीके से चल रही थी उसको लेकर ही गैंगस्टर की ये पूरी कार्यवाही हो रही है। काफी बड़े लेवल पर गलत तरीके से मांस का कारोबार करने के कारण याकूब पर यह मामला चला है जो बहुत बड़ा है। पुलिस के पास सारे साक्ष्य हैं उनको पेश कर सजा का प्रयास किया जाएगा।
सवाल- याकूब और उनके बेटों को क्या सजा मिल सकती है?
जवाब- याकूब और उनके बेटों को गैंगस्टर न्यायालय द्वारा जेल भेजा जा चुका है। अगली कार्यवाही में इन्हें कोर्ट में तलब करके इनके विरुद्ध आरोप सिद्ध किया जाएगा। चूंकि इस मामले में सभी पुलिस के गवाह हैं। आरोपी और दोनों पक्षों की गवाही के बाद सजा का प्रावधान पूरा होगा। माफिया को कड़ी सजा का पूरा प्रयास होगा।
पक्ष के वकील दलील दे रहे थे कि फैक्ट्री में मिला मीट सही था?
जवाब- विपक्ष अपनी बात कहता है, गैंगस्टर न्यायालय में याकूब का जो बेस मुकदमा है जिसके आधार पर गैंगचार्ट बना है, उसमें आरोप पत्र गया है या नहीं यह देखना चाहिए था। उन्होंने मीट क्वालिटी को अच्छा बताया जो तत्परक नहीं था। क्योंकि जो मीट फैक्ट्री में मिला था वो मानव स्वास्थ्य के लिए हानिकारक पाने पर न्यायालय के आदेश पर ही नष्ट कराया गया था। शेष मीट पर पर भी कार्रवाई हो रही है। सुनवाई, तथ्यों के आधार पर ही कोर्ट ने कुरैशी पिता-पुत्र को 7.1.2023 से 3.3.2023 तक जेल भेजा है।
सवाल- याकूब और उनके बेटों पर बेस मुकदमा क्या है?
जवाब- एक अवैध मीट फैक्ट्री का संचालन याकूब कुरैशी व अन्य गैंग द्वारा चलाई जा रही थी। जहां पुलिस की छापेमारी हुई। मांस के नमूनों के परीक्षण में वो मीट स्वास्थ्य के लिए घातक निकला। अवैध रूप से मीट का कारोबार हाजी याकूब कर रहे थे, उसी के आधार पर उन पर मुकदमा किया गया है।
सवाल- याकूब के वकील उनको मेडिकल इमरजेंसी बता रहे हैं, क्या बेल मिलेगी?
जवाब- मेडिकल इमरजेंसी को लेकर माननीय न्यायालय का आदेश है कि जो भी नियमानुसार मेडिकल ट्रीटमेंट की जरूरत होगी वो जेल में ही मिलेगा। चूंकि बहुत गंभीर मामला है। बेल न हो इसका पूरा प्रयास किया जाएगा।
सवाल- याकूब और उनके बेटों को कितनी सजा हो सकती है?
जवाब- गैंगस्टर अधिनियम की बात करें तो अधिकतम 10 साल की सजा का प्रावधान है। हम पूरी कोशिश करेंगे कि उन्हें अधिकतम सजा कराई जाए। जो बेस मुकदमा है 131/22 क्राइम नंबर उसमें 272, 273 लगा हुआ है वो भी सेशन ट्राइबल है, उसमें आजीवन कारावास तक हो सकता है। जितने लोगों पर ये गैंगस्टर लगा हुआ है ये सभी पर लागू होता है। इसलिए अभियोजन पक्ष अधिकतम सजा का प्रयास करेगा।