मथुरा की थाना राजकीय रेलवे पुलिस ने नकली नोट छापने और खपाने वाले एक गिरोह के 3 सदस्यों को गिरफ्तार किया है। यह आरोपी नकली नोटों को खपाने का काम करते थे। रेलवे पुलिस को यह सफलता उस समय हाथ लगी जब यह लोग बनारस से कोटा नकली नोट ले कर जा रहे थे। रेलवे पुलिस अब गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है।
डेढ़ लाख रुपए के नकली नोट हुए बरामद
राजकीय रेलवे पुलिस स्टेशन पर गश्त कर रही थी तभी उसे दो लोग संदिग्ध दिखाई दिए। रेलवे पुलिस ने प्लेटफार्म संख्या 4 पर मौजूद संदिग्ध दोनों लोगों से जब पूछताछ की तो वह किसी सवाल का सही जवाब नहीं दे रहे थे। शक होने पर रेलवे पुलिस थाने ले आई और वहां कड़ाई से पूछताछ की।
पूछताछ में आरोपियों ने बताई नकली नोट खपाने की बात
पुलिस की गिरफ्त में आए राजस्थान के सवाई माधोपुर निवासी कलीमुल्ला काजी और कोटा निवासी तकीम ने पूछताछ में बताया कि वह नकली नोटों को खपाने का काम करते हैं। पुलिस ने जब इनके सामान की तलाशी ली आरोपियों से डेढ़ लाख रुपए के नकली नोट बरामद हुए। यह सभी नोट 500-500 के हैं।
2018 में हुई थी मकान बनाने वाले ठेकेदार से मुलाकात
कलीमुल्ला काजी ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि पेशे से टैक्सी ड्राइवर है। 2018 में होटल बनाने वाली लेबर के ठेकेदार सनाउल ने उसका मकान किराए पर लिया था। इसी दौरान सनाउल से कलीमुल्ला की मुलाकात हुई। सनाउल ने कलीमुल्ला को बताया कि वह नकली नोट खपाने का काम करता है और इस काम में अच्छा मुनाफा होता है।
मालदा से ली पहली बार नकली नोटों की खपत
सलाउल के साथ कलीमुल्ला पश्चिम बंगाल के मालदा गया। मालदा में सनाउल के साथियों से मुलाकात हुई। सनाउल और उसके साथी भारत के अलग अलग राज्यों में नकली नोट खपाने का काम करते थे। कलीमुल्ला ने सनाउल और उसके साथियों से नकली नोटों की पहली खेप ली। जिसके बाद उसे काफी मुनाफा हुआ।
कलीमुल्ला ने भांजे को भी किया शामिल
पहली बार मुनाफा मिलने पर कलीमुल्ला ने नकली नोट खपाने का धंधा शुरू कर दिया। कलीमुल्ला ने इस धंधे में भांजे सिविल इंजीनियर तकिम को भी शामिल कर लिया। इसके बाद दोनों ने मिलकर जाली नोटों को खपाने का काम बड़े स्तर पर करना शुरू कर दिया।
चीन से मंगाया सिक्योरिटी पेपर
इस दौरान कलीमुल्ला ने सनाउल से मालदा दूर होने की बात कही। जिसके बाद सनाउल ने GUANGZHOU BONEDRY Co.Limited के बारे में बताया और कंपनी प्रतिनिधि का मोबाइल नंबर दिया। सनाउल ने बताया कि चीन की यह कम्पनी सिक्योरिटी पेपर उपलब्ध कराती है। जिसके जरिए नकली नोटों की छपाई की जा सकती है।
सनाउल ने कलीमुल्ला को बताया कि यह सिक्योरिटी पेपर बनारस के मुकेश को दे देना और नकली नोट ले लेना। इसके बाद अलीबाबा. कॉम में माध्यम से कलीमुल्ला ने चीन की कंपनी से पेपर मंगाया और उसे रौनक उर्फ मुकेश को दे दिया।
बनारस से नकली नोट ले कर जा रहे थे कोटा
इसके बाद रौनक उर्फ मुकेश से नकली नोट और सिक्युरिटी पेपर ले कर कलीमुल्ला और तकीम बनारस से कोटा जाने के लिए निकले। ट्रेन के जरिए यह लोग बनारस से मथुरा पहुंचे। जहां से यह लोग ट्रेन बदल कर कोटा जाने के लिए प्लेटफार्म संख्या 4 पर पहुंचे। यह लोग कोटा की ट्रेन पकड़ते उससे पहले ही रेलवे पुलिस ने इनको पकड़ लिया।
ट्रेन में नोट लाने जाने के लिए ट्रेन अटेंडेंट करता था मदद
ट्रेन में नोट ले जाने लाने के दौरान आरोपियों की मुलाकात ट्रेन अटेंडेंट धर्मेंद्र से हुई। धर्मेंद्र बिहार का रहने वाला है। धर्मेंद्र से कलीमुल्ला ने मुलाकात कर उसे भरोसे में ले लिया और रुपयों का लालच दे कर अपने साथ मिला लिया। इसके बाद धर्मेंद्र ने नकली नोट और सिक्योरिटी पेपर एसी कोच के कंपार्टमेंट में रख दिए। जिससे किसी को शक न हो और पुलिस भी न पकड़े।
गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी पुलिस
कलीमुल्ला, तकीम और धर्मेंद्र को गिरफ्तार करने के बाद राजकीय रेलवे पुलिस की 6 टीम गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश में जुट गई हैं। एसपी जीआरपी मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि जीआरपी की टीम मालदा और बनारस भी गई हैं।
इसके अलावा सर्विलांस की मदद से इनके गिरोह के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। फिलहाल गिरफ्तार किए गए तीनों आरोपियों से डेढ़ लाख रुपए के नकली नोट और सिक्योरिटी पेपर बरामद किया गया है।