झांसी के लहचूरा थाना इलाके में मंगलवार रात किसान ने कर्ज से परेशान होकर आत्महत्या कर लिया। बुधवार की तड़के सुबह घर से 500 मीटर दूर पेड़ से लटकता हुआ उसका शव पाया गया। परिजनों का कहना है कि उस पर 12 लाख रुपये का कर्ज था।
इस बार बारिश से फसल बर्बाद हो गई। 40 बीघा जमीन पर बोई फसल के बर्बाद होने से परेशान रहता था। कई दिनों से तनाव में था। इस वजह से उसने देर रात फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उधर, किसान कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष भी मौके पर पहुंचे। परिजनों को आर्थिक मदद दिलाए जाने की मांग की है।
पहले पिता, बाद में दोनों बेटे करने लगे खेती
मामला मऊरानीपुर के ग्राम बम्होरी का है। स्वामी प्रसाद पेशे से किसान हैं। उनके दो बेटे हैं, ब्रगभान 25 और उमेश 42। स्वामी नारायण की अब उम्र हो चुकी है, इसलिए दोनों बेटे ही खेती बारी करते हैं। वह सिर्फ घर पर ही रहते हैं। इन दोनों के पास 40 बीघा खेती है। जिसमें ये लोग खेती करते हैं। अभी बंटवारा नहीं हुआ है।
40 बीघा की जमीन पर करते थे खेती
सुबह करीब 5 बजे की बात है। ब्रगभान का शव पेड़ से लटकता हुआ पाया गया। इसकी सूचना किसी ग्रामीण ने ही परिजनों को दी। भाई उमेश ने बताया, कई दिनों से वह परेशान चल रहा था। हम दोनों ने 40 बीघा जमीन पर खरीफ की फसल व दहलन की फसल बोई थी। 6 लाख रुपये केसीसी और 6 लाख रुपये साहूकारों से उधार लिया था। कुल 12 लाख रुपये का कर्जा था। लेकिन फिर भी सब ठीक चल रहा था।
इस बार के बरसात ने सब किया बर्बाद
भाई ने बताया हम दोनों ने यह सोचा था कि इस बार अच्छी फसल होगी। अच्छी पैदावार होगी तो अच्छा आय होगा। लोगों का कर्ज चुका देंगे, लेकिन सब बर्बाद हो गया। बिना समय से बरसात होने पर फसलें बर्बाद हो गईं। तभी से भाई ब्रगभान बहुत परेशान रहता था। इस वजह से उसने देर रात आत्महत्या कर लिया।
6 साल पहले ब्रगभान की हुई थी शादी
वहीं, पत्नी रचना ने बताया, रात में सब लोग खाना खाकर सो गए थे। रात करीब 12 बजे नींद खुली तो देखा कि ये घर में नहीं थे। घरवालों को बताया, लेकिन कुछ पता नहीं चला। काफी देर बाद भोर में इनके जाने की खबर मिली। मेरा पांच साल का बेटा है। उनके चले जाने के बाद अब उसे किस तरह से पालूंगी।
पिता बोले- जवान बेटे के जाने से निःशब्द हूं
जवान बेटे के जाने के मां-पिता का रो-रोकर बुरा हाल है। मां कुछ भी बोलने की स्थिति में नहीं है। पिता ने कहा, मुझसे कुछ भी बोला नहीं जा रहा है। पहले भी चिंताएं थीं, अभी भी तमाम परेशानी है। घर का कर्जा कैसे हटेगा। जवान बेटा था, ऐसे दोराहे पर छोड़कर चला गया। मासूम बच्चों का भरण पोषण कैसे होगा। पीड़ित पिता ने सरकार से मदद की उम्मीद की है।
थाना प्रभारी अमरनाथ सिंह यादव ने कहा कि सुबह में किसान के आत्महत्या की सूचना मिली थी। पुलिस मौके पर पहुंची। शव को पेड़ से नीचे उतारा और पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। फिलहाल मामले की जांच पड़ताल की जा रही है। कर्ज होने के कारण आत्महत्या का वजह बताया जा रहा है।
परिजनों को मदद का दिया आश्वासन
उधर, उत्तर प्रदेश किसान कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष शिवनारायण सिंह भी मृतक के परिवार पहुंचे। परिजनों से मिलकर उनको ढांढस बंधाया। शासन व प्रशासन से मृतक के परिजनों को आर्थिक सहायता देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि परिजनों का हर संभव मदद किया जाएगा।