ऑकलैंड. भारतीय स्पिनर दीप्ति शर्मा के इंग्लैंड के खिलाफ नॉन स्ट्राइकर छोर पर चार्ली डीन को रन आउट करने से उठा विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है और न्यूजीलैंड की क्रिकेटर एमेलिया केर का कहना है यह नियमों के अंदर है लेकिन वह खुद ऐसा नहीं करेंगी. इंग्लैंड को मैच जीतने के लिए 17 रन चाहिए थे. डीन 80 गेंदों में 47 रन बना चुकी थीं. वह नॉन स्ट्राइकर छोर पर क्रीज से बाहर निकल आईं और गेंदबाज दीप्ति ने बेल्स निकाल दीं. इस तरह रन आउट होने से डीन की आंखों में आंसू आ गए और देखने वाले अचंभित रह गए.दीप्ति का डीन को मांकडिंग करना तब से चर्चा का विषय बना हुआ है. इंग्लैंड के ऑलराउंडर मोईन अली महिला टीम की कप्तान हीथर नाईट और कई अन्य ने इस तरह के रन आउट पर अपने विचार रखे हैं. शुक्रवार को केर के हवाले से आईसीसी ने कहा, यह खेल के नियमों के अंदर है. यदि इस तरह की घटनाएं और होती हैं तो बल्लेबाज और जागरूक रहेंगे.केर के विचार के जवाब में न्यूजीलैंड की क्रिकेटर फ्रैंकी मैकाय ने कहा कि उन्होंने एक बार नॉन स्ट्राइकर छोर पर रन आउट किया था, लेकिन उसके बाद उन्होंने ऐसा करना छोड़ दिया. मैकाय ने रन आउट का बचाव करते हुए कहा, हम ऐसा मैच चाहते हैं जिसमें बल्ले और गेंद के बीच संतुलन हो, लेकिन यदि बल्लेबाज इस तरह क्रीज से बाहर निकलकर फायदा उठाना चाहता है तो मुझे लगता है कि मांकडिंग की वापसी हुई है. दरअसल, भारतीय ऑलराउंडर दीप्ति शर्मा ने 24 सितंबर को लॉर्ड्स मैदान पर खेले गए तीसरे महिला एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में नॉन स्ट्राइक छोर पर गेंदबाजी करने से पहले आगे निकल गई चार्ली डीन को रन आउट किया जिससे भारत यह मैच जीतने में सफल रहा. चार्ली डीन तब 47 रन पर खेल रही थी और इंग्लैंड को जीत के लिए 17 रन की दरकार थी. यह रन आउट खेल के नियमों के अनुसार था, लेकिन इंग्लैंड के खिलाड़ी इससे खुश नहीं थे.दीप्ति के इस तरीके ने एक बार फिर से खेल भावना को लेकर बहस शुरू कर दी. इस तरह का रन आउट हमेशा नियमों के तहत आता था, लेकिन इसे खेल भावना के विपरीत माना जाता था. आईसीसी ने हाल में खेल की परिस्थितियों में बदलाव करके इस तरह के रन आउट को अनुचित खेल से हटाकर रन आउट वर्ग में डाल दिया था.
मांकडिंग ICC नियमों के अंदर, लेकिन: न्यूजीलैंड क्रिकेटर ने कही बड़ी बात



